
सच्चाई की ताकत
By Laxmi Rajput

23 Nov, 2024

एक छोटे से गांव में, जहां सूरज की किरणें खेतों पर चमक रही थीं और हवा में ताजगी थी, रिकी और उसका दोस्त राजू खेल रहे थे। रिकी अपने चंचल स्वभाव के लिए जाना जाता था, जबकि राजू थोड़ा गंभीर था, लेकिन दोनों की दोस्ती गहरी थी।

खेल के दौरान, राजू का बहुमूल्य पत्थर अचानक गायब हो गया। राजू"मेरा पत्थर कहाँ गया?" उसने चिंतित होकर पूछा। रिकी ने तुरंत जवाब दिया, "शायद वह किसी और जगह गिर गया होगा," लेकिन उसके दिल में एक अजीब सा बोझ महसूस हुआ।

जैसे-जैसे शाम ढलने लगी, रिकी के मन में guilt बढ़ने लगा। रास्ते पर चलते हुए, उसने महसूस किया कि झूठ बोलने से उसका दिल भारी हो गया था। उसने खुद से कहा, "मैं यह कैसे छुपा सकता हूँ

सत्य बताना ही सही होगा।"

रात के अंधेरे में, जब सितारे टिमटिमा रहे थे, रिकी ने राजू को सच बताने का निर्णय लिया। "राजू, मुझे माफ कर दो, मैंने झूठ कहा था। पत्थर मेरे पास है," उसने स्वीकार किया। राजू ने आश्चर्य के साथ उसकी ओर देखा।

अगली सुबह, गांव के लोग रिकी की ईमानदारी की चर्चा कर रहे थे। राजू"तुम्हारी सच्चाई ने मुझे बहुत कुछ सिखाया," उसने रिकी से कहा। रिकी ने सिर हिलाकर मुस्कुराते हुए जवाब दिया, "सच्चाई हमेशा सबसे अच्छी रास्ता होती है।"

गांव के लोग रिकी की ईमानदारी की तारीफ कर रहे थे, और वह जान गया था कि सच्चाई की ताकत अद्वितीय होती है। उसने सीखा कि झूठ से केवल परेशानियाँ आती हैं और सच्चाई में ही असली ताकत होती है। इस एहसास के साथ, उसने अपने जीवन में सच्चाई के महत्व को समझा।