परियों का जादुई जंगलBy Ponny The horse

परियों का जादुई जंगल
By Ponny The horse
Created on 18 May, 2024

जंगल के बीचों-बीच एक बड़ा सा पेड़ था जिसे 'परियों का महल' कहा जाता था। यहाँ परियाँ अपनी जादुई शक्तियों से जंगल को खुशहाल और हरा-भरा बनाती थीं।

परियों की रानी, रानी तारा, सबसे ज्यादा दयालु और बुद्धिमान थी। वह अपनी जादुई शक्तियों से जंगल को हरा-भरा और खुशहाल बनाती थी।

एक छोटी सी बच्ची जिसका नाम था मीरा, जंगल के किनारे आ गई। मीरा अपने माता-पिता से बिछड़ गई थी और अब वो बहुत डरी हुई थी।

अचानक, रानी तारा मीरा के सामने आई। रानी ने मीरा से पूछा, 'तुम यहाँ क्या कर रही हो, प्यारी बच्ची?' मीरा ने रोते हुए कहा, 'मैं अपने माता-पिता से बिछड़ गई हूँ। मुझे रास्ता नहीं मिल रहा।'

रानी ने मीरा को प्यार से गले लगाया और कहा, 'डरो मत, मीरा। मैं तुम्हारी मदद करूंगी।'

रानी ने अपने जादुई छड़ी से एक सुंदर फूल बनाया और उसे मीरा को दिया। वह फूल मीरा को उसके माता-पिता तक पहुँचाने का रास्ता दिखाएगा।

मीरा ने फूल को अपने हाथ में लिया और वह फूल उसे जंगल के माध्यम से रास्ता दिखाने लगा। मीरा अब डरी हुई नहीं थी, वह सहसा साहसी महसूस कर रही थी।

मीरा ने धैर्य से फूल का अनुसरण किया और अंततः वह अपने माता-पिता को मिलने के लिए वापस आ गई। वह अब खुश और सुरक्षित महसूस कर रही थी।

मीरा की माता-पिता उसे देखकर बहुत खुश हुए। उन्होंने उसे गले लगाया और उसकी चिंता को समझा।

मीरा ने अपने माता-पिता को परियों के बारे में सब कुछ बताया। वह उन्हें बताती है कि कैसे रानी तारा ने उसकी मदद की और उसे घर वापस लौटने का रास्ता दिखाया।

मीरा और उसके माता-पिता ने जंगल की ओर देखकर परियों का धन्यवाद किया। वे उनकी मदद के लिए सदैव कृतज्ञ रहेंगे।

मीरा और उसके माता-पिता घर वापस चले गए, लेकिन मीरा कभी भी उस जादुई जंगल और परियों को नहीं भूलेगी।

परियों का जादुई जंगल
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